हरियालो राजस्थान योजना राजस्थान सरकार की एक महत्वाकांक्षी परियोजना है, जिसका उद्देश्य राज्य को हरित और सुंदर बनाना है। इस योजना के तहत, राज्य सरकार वृक्षारोपण, जल संचयन और अन्य पर्यावरण संबंधी कार्यों पर ध्यान केंद्रित कर रही है। *मुख्य उद्देश्य:* - राज्य में वृक्षारोपण को बढ़ावा देना और वन क्षेत्र को बढ़ाना - जल संचयन और जल संरक्षण को प्रोत्साहित करना - पर्यावरण संरक्षण और प्रदूषण नियंत्रण के लिए काम करना - राज्य को सुंदर और हरित बनाना *कार्यक्रम और गतिविधियाँ:* - वृक्षारोपण अभियान: राज्य सरकार वृक्षारोपण अभियान चला रही है, जिसमें लोगों को वृक्षारोपण के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है। - जल संचयन: राज्य सरकार जल संचयन के लिए विभिन्न कार्यक्रम चला रही है, जैसे कि वर्षा जल संचयन और जल संरक्षण। - पर्यावरण संरक्षण: राज्य सरकार पर्यावरण संरक्षण के लिए काम कर रही है, जैसे कि प्रदूषण नियंत्रण और वन संरक्षण। *लाभ:* - राज्य को हरित और सुंदर बनाने में मदद मिलेगी - पर्यावरण संरक्षण और प्रदूषण नियंत्रण में मदद मिलेगी - जल संचयन और जल संरक्षण में मदद मिलेगी - लोगों को पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागर...
राजस्थान अपने बेमिसाल राजस्थानी संस्कृति अपने बेमिसाल विशाल दुर्गों की वजह से प्रसिद्ध है और देश विदेश में विदेशी पर्यटकों और देशी पर्यटकों का पसंदीदा जगह रहा है राजस्थान का बॉर्डर इलाका राजस्थान का बॉर्डर इलाका रेगिस्तान बंजर है लेकिन यह एक वजह से प्रसिद्ध है राजस्थान के जैसलमेर जिले में तनोट नामक जगह पर जहां पर भारत और पाकिस्तान के मध्य 1971 में युद्ध हुआ वहां पर तनोट राय भवानी का मंदिर अवस्थित है और इस मंदिर की सिद्धि इतनी है की 1965 और 71 के युद्ध में यह मंदिर प्रमुख शक्तिपीठ रहा है।
1971 के युद्ध में पाकिस्तान द्वारा बरसाए गए तोप के गोलों के कारण तोप के गोले इस मंदिर के आसपास गिरे लेकिन वह फट नहीं पाए वह उसी अवस्था में रह गए और मंदिर का बाल भी बांका नहीं हुआ इस मंदिर का पुजारी भी एक भारतीय सेना का सैनिक होता है और इस मंदिर की देखरेख बीएसएफ बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स करती है।
हम जैसलमेर से तनोट जा सकते हैं और जैसलमेर से तनोट जाने के लिए कम से कम 120 किलोमीटर का सफर तय करना पड़ता है ।भारत सरकार द्वारा भारतमाला परियोजना के तहत बहुत ही उत्कृष्ट रोड का निर्माण किया गया है जो विश्व विश्व प्रसिद्ध रोड के बराबर पहुंच चुकी है इस मंदिर तक पहुंचने के लिए आपको जैसलमेर से रामगढ़ रामगढ़ से तनोट पहुंचा जा सकता है लेकिन तनोट पहुंचने से पहले लोंगेवाला जाना जरूरी होता है जब आप जैसलमेर से तनोट जाते हो।
लोंगेवाला वह स्थान है जहां पर भारत और पाकिस्तान के बीच में युद्ध हुआ और वहां पर भारतीय वीरों के अदम्य साहस और बलिदान से भारत विजयी हुआ।
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